मज़दूर-दिवस-पर-घरों-में-बंदः-काम-नहीं-तो-वेतन-नहीं

Bangalore, Karnataka

May 04, 2020

मज़दूर दिवस पर घरों में बंदः काम नहीं, तो वेतन नहीं

एक नई डॉक्यूमेंट्री फ़िल्म, जिसमें बेंगलुरु की मेट्रो रेल परियोजना पर काम करने वाले अधिकांश प्रवासी मज़दूर कोविड-19 लॉकडाउन के समय में पैदा होने वाली अपनी स्थिति के बारे में बता रहे हैं

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Author

Yashashwini & Ekta

यशस्विनी, साल 2017 की पारी फ़ेलो हैं. वह एक फ़िल्ममेकर भी हैं और उन्होंने हाल ही में एम्सटर्डम के Rijksakademie van Beeldende Kunsten में आर्टिस्ट-इन-रेसिडेंस कार्यक्रम पूरा किया है. एकता, फ़िल्ममेकर हैं और बेंगलुरु के एक मीडिया व कला समूह ‘मरा’ की सह-संस्थापक हैं.

Translator

Qamar Siddique

क़मर सिद्दीक़ी, पीपुल्स आर्काइव ऑफ़ रुरल इंडिया के ट्रांसलेशन्स एडिटर, उर्दू, हैं। वह दिल्ली स्थित एक पत्रकार हैं।