बांस-के-ढोल-और-कासारगोड-के-ढोलकी

Kasargod, Kerala

May 13, 2019

बांस के ढोल और कासारगोड के ढोलकी

केरल के पारप्पा गांव में त्योहारों तथा अन्य कार्यक्रमों के दौरान माविलन आदिवासी समुदाय के लोग ‘घास’ पर ढोल बजाते हैं, और साल के बाक़ी दिन ये संगीतकार दिहाड़ी मज़दूर बन जाते हैं

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Author

Gopika Ajayan

गोपिका अजायन ने चेन्नई के एशियन कॉलेज ऑफ़ जर्नलिज्म से ग्रेजुएशन किया है. वह एक वीडियो जर्नलिस्ट हैं और भारत के आदिवासी समुदायों की कला और संस्कृति पर केंद्रित काम कर रही हैं.

Translator

Qamar Siddique

क़मर सिद्दीक़ी, पीपुल्स आर्काइव ऑफ़ रुरल इंडिया के ट्रांसलेशन्स एडिटर, उर्दू, हैं। वह दिल्ली स्थित एक पत्रकार हैं।